• March 30, 2017

शिक्षित, सक्षम और समर्थ पंचायत बना रहे हैं हम: धनखड़

शिक्षित, सक्षम और समर्थ पंचायत बना रहे हैं हम: धनखड़

हरियाणा के गांवों में विकास पर खर्च होंगे 4320 करोड़: धनखड़

झज्जर। हरियाणा में गावो के विकास के लिए नये वित्तीय वर्ष में कुल 3120 करोड़ रूपये खर्च किये जायेंगे। पिछले वित्तीय वर्ष की तुलना में यह राशि 56 प्रतिशत अधिक है। कृषि मंत्री ओ पी धनखड़ ने बताया कि इसके अलावा नाबार्ड की मदद से प्रदेश के विकास पर अगले तीन वर्ष में 5000 करोड़ रूपये खर्च किये जायेंगे। इसमें से 1200 करोड़ इसी वर्ष 600 गाँवो पर खर्च किये जायेंगे।

पंचायती राज संस्थाओं को मजबूत करने के संकल्प को दोहराते हुए धनखड़ ने कहा कि अब पंचायतो द्वारा विकास के लिए 10 लाख के बजाय खर्च सीमा 20 लाख करना इसी का हिस्सा है। धनखड़ ने कहा कि सरकार लोकतंत्र को मजबूत करने में विश्वास रखती है,इसलिए पंचायतो, जिला परिषदों और ब्लाक समितियों के अधिकार क्षेत्र को बढ़ाया जा रहा है। इससे पंचायते शिक्षित से सक्षम और समर्थ होंगी।

राज्य में अक्तूबर 2014 में भाजपा की सरकार बनी। इस सरकार बनने के बाद ग्राम विकास पर सरकार का खास फोकस रहा है। प्रदेश में शिक्षित पंचायतों को बनाने का सपना राज्य के पंचायत मंत्री ओपी धनखड़ ने देखा। इसे लागू करने के लिए भले ही कोर्ट तक चक्कर लगाने पड़े, मगर जीत सरकार की हुई।

हालांकि विपक्षियों ने इसमें भी बहुत अड़गें लगाने की कोशिशें की। पंचायतें बनने के बाद सरकार ने इनके मानदेय में वृद्धि की। पंच-सरपंच, जिला परिषदों के सदस्य, ब्लाॅक समितियों के सदस्यों सहित सभी जनप्रतिनिधियों का मानदेय बढाया।वर्ष 2016 में शपथ समारोह आयोजित हुए और उसके बाद पंचायतों ने काम आरंभ किया।

जनप्रतिनिधियों को अधिक अधिकार मिलें, इसके लिए भी सरकार ने खुले मन से काम किया। जिला परिषदों व ब्लाॅक समितियों के लिए बाकायदा विकास कराने के लिए अलग से धन देने की व्यवस्था पर काम किया। प्रदेश के विकास के लिए आमतौर पर दो हजार करोड़ के बजट का प्रावधान रहता है।

इस वर्ष नए वित्तिय वर्ष में इसे 56 प्रतिशत बढाया गया है। इस बजट के हिसाब से कुल बजट का 60 प्रतिशत सीधे पंचायतों को विकास के लिए दिया जाता है। शेष 40 फीसदी राशि मंत्रियों और मुख्यमंत्री के अधिकार क्षेत्र से घोषणाओं द्वारा खर्च के लिए दी जाती है।

प्रदेश के पंचायत मंत्री ओपी धनखड़ से जिला परिषदों व ब्लाॅक समितियों के सदस्य अपने अधिकारों के लिए मिले। पंचायत मंत्री ने उदारता के साथ उनका स्वागत किया और जिला परिषदों व ब्लाॅक समितियों के लिए अलग से धन देने की व्यवस्था आरंभ की। गांव के विकास पर खर्च होने वाली राशि में से जिला परिषदों व ब्लाॅक समितियों को उनके वार्ड के हिसाब से और जिले की भौगोलिक स्थिति के हिसाब से ग्रांट दी जाएगी। औसतनः दस प्रतिशत राशि जिला परिषदों व 15 प्रतिशत राशि ब्लाॅक समितियों के माध्यम से खर्च की जाएगी।

शिक्षित पंचायतों के साथ उन्हें सक्षम बनाने के लिए विभिन्न विश्वविद्यालयों के माध्यम से उन्हें सार्टिफिकेट कोर्स करवाने की शुरूआत भी सरकार ने की। पंचायत मंत्री ओ पी धनखड़ ने कहा कि पंचायतों को तकनीकी तौर पर दक्ष बनाने के लिए भी ये जरूरी है।

गांव के लोगों को सारी सुविधाएं एक साथ मिल सकें, इसके लिए सरकार ने ग्राम सचिवालय की शुरूआत की। प्रदेश के एक तिहाई गांवों में ग्राम सचिवालय बनाने का क्रम जारी है। इन सचिवालयों में सरपंच, पटवारी के बैठने की व्यवस्था के अलावा अटल सेवा केंद्र भी खोले जा रहे हैं। ताकि लोग अपना आॅन लाइन काम भी आसानी से करवा सकें।

अब प्रदेश के पंचायत मंत्री ने एक बार फिर पंचायतों के लिए दो महत्वपूर्ण फैसले लिए। गांव के विकास के लिए नाबार्ड से पांच हजार करोड़ रूपये से लिए हैं, ताकि गांवांे के विकास के लिए अधिक धन मुहैया करवाया जा सके। इस योजना के तहत पहले चरण में सरकार 600 गांवों के लिए 1200 करोड़ खर्च करने का प्रावधान किया। इसके तहत तीन हजार से 10 हजार की आबादी के गांवों को चुना जाना है।

प्रदेश के अलग-अलग गांवों में एक साल में ही दो करोड़ तक के विकास कार्य होने से गांवों की कायाकल्प करने का फैसला लिया है। अगले तीन साल में प्रदेश के सभी गांवों में अभूतपूर्व विकास के जरिए हर गांव तक पहुंचने का लक्ष्य रखा गया है।

प्रदेश के हर गांव को उसकी अपनी पहचान मिले, इसके लिए ग्राम गौरव पट्ट लगाने का फैसला भी इस सरकार ने लिया। कृषि मंत्री ओपी धनखड़ के अनुसार जिस तरह से इंडिया गेट भारत की शान है उसी प्रकार हर गांव की शान ग्राम गौरव पट्ट बने, इसकी संरचना की है।

इस पट्ट पर गांव के इतिहास, वीर शहीदों का वर्णन, दानियों की सूची, खिलाड़ियों का उल्लेख और अन्य राष्ट्रीय या अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने वालों का उल्लेख होने से गांव का गौरव जगता है। युवाओं को प्रेरणा मिलती है। बाहर से आने वाले व्यक्ति को भी गांव की जानकारी एक नजर मंे मिलेगी। इसलिए इन गौरव पट्ट का निर्माण करवाया जा रहा है।

लोकतंत्र में पंचायती राज को मजबूत करने के लिए अब पंचायत मंत्री ओपी धनखड़ ने पंचायतों द्वारा विकास के लिए खर्च की जाने वाली राशि को दस से 20 लाख की है। इस कदम की सराहना जनप्रतिनिधियों द्वारा की जा रही है। जिला परिषदों, ब्लाॅक समितियों के अधिकारों में वृद्धि, जिला परिषदों में अधिकारियों की नियुक्ति जैसे कदम भी पंचायतों को मजबूत करने की दिशा में ठोस कदम हैं।

मीडिया एडवाइजर ,
कृषि एवं पंचायत मंत्री, हरियाणा।
9416085055

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