• July 28, 2016

महिला सशक्तिकरण एवं जल संरक्षण की दिशा में सराहनीय कदम

महिला सशक्तिकरण एवं जल संरक्षण की दिशा में सराहनीय कदम

जयपुर————- नीति आयोग के सी.ई.ओ. श्री अमिताभ कांत ने राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही महत्वाकांक्षी भामाशाह योजना और मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान की प्रशंसा करते हुए इन्हें महिला सशक्तिकरण एवं जल संरक्षण की दिशा में सराहनीय कदम बताया।

नई दिल्ली के विज्ञान भवन में बुधवार को नीति आयोग द्वारा आयोजित सम्मेलन में राजस्थान के वित्त सचिव (बजट) श्री नवीन महाजन ने राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही भामाशाह योजना एवं मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान का पावर प्वाईंट प्रस्तुतीकरण दिया। प्रस्तुतीकरण के बाद श्री महाजन ने बताया कि भामाशाह योजना राजकीय सेवाओं के लाभ के प्रभावी वितरण की योजना है।

उन्होेंने बताया कि महिलाओं को परिवार का मुखिया बनाकर शुरू की गई भामाशाह योजना देश में महिला स्वालम्बन एवं वित्तीय सशक्तीकरण की सबसे बड़ी योजना है। उन्होने बताया कि राज्य में भामाशाह कार्ड द्वारा विभिन्न योजनाओं के लिए नगद एवं गैर नगद लाभों का हस्तांतरण किया जा रहा है और सामाजिक सुरक्षा योजनाओं जैसे पेंशन, मनरेगा, जननी सुरक्षा योजना, ई.पी.डी.एस. एवं स्वास्थ्य बीमा के लाभ दिये जा रहे हैं और अभी तक भामाशाह योजना के अन्तर्गत राज्य में 4.50 करोड़ से भी अधिक वित्तीय स्थानान्तरणों के साथ 3,150 करोड़ रुपये से ज्यादा की राशि लाभार्थियों को जारी की जा चुकी है।

उन्होने बताया कि अभी तक राज्य में भामाशाह योजना के तहत करीब 1.24 करोड़ परिवारों का नामांकन के साथ ही करीब एक करोड़ से ज्यादा प्रिंटेड भामाशाह कार्ड वितरित किए जा चुके हैं। इस योजना से सभी राजकीय योजनाओं के नगद एवं गैर नगद लाभ को प्रत्येक लाभार्थी को सीधे एवं पारदर्शी से रूप से पहुंचाया जा रहा है। जल क्रांति का एक नया सवेरा  मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान श्री महाजन ने बताया कि राजस्थान जल संरक्षण की दिशा में सार्थक कदम उठाने वाला पहला राज्य है जहां जन भागीदारी को आधार बनाकर राज्य सरकार द्वारा जल की आवश्यकता की दृष्टि से प्रदेश के लोगों को आत्मनिर्भर बनाकर पेयजल की समस्या के स्थाई समाधान की ओर प्रयास किया जा रहा है।

इस अभियान से राज्य में जल क्रांति का एक नया सवेरा हुआ है। उन्होेंने बताया कि इस मिशन का उदेश्य जल के समुचित उपयोग हेतु जन-जागृति और जन सहयोग प्राप्त करके जल संरक्षण एवं जल भराव संरचनाओं पुनरूद्धार और उन्नयन करना है। इससे राज्य में जल संसाधनों का प्रभावी रूप से प्रबंधन, पेयजल हेतु आत्मनिर्भरता और सिंचित क्षेत्र को बढाया जा रहा है।

श्री महाजन ने बताया कि प्रदेश में प्राप्त विभिन्न वित्तीय संसाधनों यथा केन्द्रीय, राज्य, कॉरपोरेट जगत, ट्रस्टों, गैर सरकारी संस्थानों एवं जन सहयोग का कन्र्वजैन्स कर जल संरक्षण एवं जल भराव संरचनाओं की गतिविधियों का प्रभावी क्रियान्वयन किया जा रहा है। इससे गॉव को जल आत्मनिर्भर बनाकर पेयजल का स्थाई समाधान हेतु सशक्त बनाया गया है। इस मिशन के तहत विगत छह माह में 92 हजार कार्य पूर्ण किए जा चुके हैं, जो लक्ष्य का करीब 95 प्रतिशत है।

उन्होंने बताया कि जनसहयोग के रूप में अभी तक इस योजना के लिए 55 करोड़ रूपये नगद सहयोग प्राप्त हुआ है। इसके अतिरिक्त गैर नगदीय रूप में जनसंगठनों एवं सरकारी विभागों से भारी मात्रा में श्रम दान और जल संरचनाओं के पुनरूद्धार हेतु मशीनीय सहयोग प्राप्त हुआ है।

Related post

साइबर अपराधियों द्वारा ‘ब्लैकमेल’ और ‘डिजिटल अरेस्ट’ की घटनाओं के खिलाफ अलर्ट

साइबर अपराधियों द्वारा ‘ब्लैकमेल’ और ‘डिजिटल अरेस्ट’ की घटनाओं के खिलाफ अलर्ट

गृह मंत्रालय PIB Delhi——–  राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल (NCRP) पर साइबर अपराधियों द्वारा पुलिस अधिकारियों,…
90 प्रतिशत से अधिक शिकायतों का निपटारा किया गया : निर्वाचन आयोग

90 प्रतिशत से अधिक शिकायतों का निपटारा किया गया : निर्वाचन आयोग

कांग्रेस और भाजपा को छोड़कर अन्य पार्टियों की ओर से कोई बड़ी शिकायत लंबित नहीं है…
अव्यवस्थित सड़क निर्माण भी विकास को प्रभावित करता है

अव्यवस्थित सड़क निर्माण भी विकास को प्रभावित करता है

वासुदेव डेण्डोर (उदयपुर)———– देश में लोकसभा चुनाव के तीसरे फेज़ के वोटिंग प्रक्रिया भी समाप्त हो…

Leave a Reply