- March 12, 2015
जनजातीय बच्चों में अल्प पोषण की समस्या का समाधान
नई दिल्ली – जनजातीय कार्य राज्य मंत्री श्री मनसुखभाई धांजीभाई वसावा ने आज राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में बताया कि सरकार विशेष रुप से जनजातीय जनसंख्या सहित समाज के गरीब वर्गों के बच्चों, किशोरों तथा महिलाओं के संबंध में पोषण के मुद्दे को प्राथमिकता प्रदान करती है तथा राज्य सरकारों/संघ राज्य क्षेत्रों के माध्यम से विभिन्न मंत्रालयों/विभागों की कई योजनाओं/कार्यक्रमों को कार्यान्वित कर रही है। इन योजनाओं में अन्य बातों के साथ-साथ महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की एकीकृत बाल विकास सेवाएं (आईसीडीएस), स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय का राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन (एनआरएचएम), मानव संसाधन और विकास मंत्रालय की मध्याह्न भोजन योजना, पेय जल एवं स्वच्छता मंत्रालय का पेय जल एवं संपूर्ण स्वच्छता अभियान तथा खाद्य एवं जन संवितरण विभाग की लक्षित जन संवितरण प्रणाली इत्यादि सम्मिलित हैं। इसके अलावा, जनजातीय कार्य मंत्रालय परंपरागत ज्वार तथा बाजरा को उगाने तथा इसके उपभोग, किचन गार्डन, हरे तथा अन्य परंपरागत भोजन के उपभोग तथा घर में मुर्गी पालन, मछली पालन इत्यादि का समर्थन कर रहा है।
मंत्रालय ने क्षेत्रीय परामर्शों तथा अपनी बैठकों के माध्यम से परंपरागत ज्वार बाजरे, किचन गार्डन में हरी पत्तेदार तथा परंपरागत सब्जियों को उगाने तथा उनके उपभोग, घरेलू मुर्गी पालन तथा मछली पालन का समर्थन किया है। इसके अतिरिक्त इसने शौचालयों के निर्माण; स्कूल के बच्चों में स्वच्छता आदतों; प्रदूषण को कम करने के लिए पुन: बनाई जाने वाली सामाग्री का उपयोग करने; आयरन फोलिक एसिड की अनुपूर्ति तथा बच्चों में कृमिनाश का समर्थन किया है।
मंत्रालय ने जनजातीय फसल तथा भोजन; स्वास्थ्य एवं पोषण के मुद्दों को सुधारने के लिए जनजातीय चिकित्सा तथा प्रक्रियाओं के प्रलेखन की भी पहल की है।