• August 20, 2016

‘एजेंडा 2030’ में : ब्रिक्स महिला सांसद मंच की बैठक का उद्घाटन —

‘एजेंडा 2030’ में : ब्रिक्स महिला सांसद मंच की बैठक का उद्घाटन —

जयपुर, 20 अगस्त। राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष श्री कैलाश मेघवाल ने कहा है कि संयुक्त राष्ट्र में सहस्त्राब्दी विकास लक्ष्यों के बाद एजेंडा 2030 के रूप में महत्वाकांक्षी सस्टेनेबल डवलपमेंट गोल्स का निर्धारण किया है। इन लक्ष्यों की प्राप्ति में ब्रिक्स देशों की महिला सांसदों की महत्वपूर्ण भूमिका होगी।

श्री मेघवाल ने यह विचार शनिवार को विधानसभा में आयोजित ब्रिक्स महिला सांसद मंच की बैठक के उद्घाटन सत्र में अपने स्वागत संबोधन में व्यक्त किए।
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विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि सस्टेनेबल डवलपमेंट गोल्स मुख्य रूप से समृद्धि, शांति, साझेदारी, आर्थिक विकास और सामाजिक सहयोग जैसी बुनियादी बातों पर केंद्रित है।  इन गोल्स के द्वारा आने वाले वर्षों में गरीबी उन्मूलन, भुखमरी का अंत, उच्च शिक्षा, स्वच्छ जल, साफ-सफाई, लिंग भेद की समाप्ति तथा सभी के लिए सम्माजनक जीवन सुनिश्चित किया जाएगा।

श्री मेघवाल ने कहा कि विश्व में ब्रिक्स देशों की अर्थव्यवस्था तेजी से उभरने वाली एवं सर्वाधिक प्रभावशाली है। उन्होंने कहा कि ब्रिक्स देश दुनिया की 43 प्रतिशत जनसंख्या का प्रतिनिधित्व करते हैं। समूह के प्रत्येक देश की अपनी विशिष्ट आर्थिक परिस्थिति है, बावजूद इसके सभी सदस्य देश सस्टेनेबल डवलपमेंट के प्रति गंभीर है।

उन्होंने कहा कि ब्रिक्स देशों के समक्ष अर्थव्यवस्था के उत्तरोतर विकास के साथ-साथ जनता के कल्याण की भी महती जिम्मेदारी है। ब्रिक्स देश मिलकर विकास के रास्ते की बाधाओं को दूर कर सकते हैं। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि ब्रिक्स देशों का सहयोग अंतरराष्ट्रीय आर्थिक संबधों के लोकतांत्रिकरण की दिशा में प्रेरक शक्ति का काम करेगा।

श्री मेघवाल ने कहा कि महिला सांसद सस्टेनेबल डवलपमेंट गोल्स को अर्जित करने की दिशा में विधि निर्माण के समय सदन में होने वाली चर्चा में सक्रिय भागीदारी निभाते हुए अपनी भूमिका को सार्थक सिद्ध कर सकती हैं। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा संचालित परियोजनाओं केे परीक्षण में सामाजिक अंकेक्षण एक कारगर साधन है एवं महिला सांसद सोश्यल ऑडिटर की भूमिका को भी प्रभावशाली तरीके से निभा सकती है।

उन्होंने कहा कि महिलाओं के विरूद्ध हिंसा को समाप्त किए बिना मानव अधिकारों की रक्षा नहीं की जा सकती और न ही हम अग्रिम विकास के बारे में सोच सकते हैं। इसी कारण संयुक्त राष्ट्र संघ के ‘एजेंडा 2030’ में लैंगिक समानता और महिला सशक्तिकरण की अनिवार्यता को रेखांकित किया गया है। उन्हाेंने कहा कि औसतन पांच सांसदों में केवल एक महिला प्रतिनिधि है लेकिन पिछले कुछ दशकों की तुलना में दुनिया भर में अधिक महिलाएं अब राजनीति में सक्रिय हो रही हैं।

श्री मेघवाल ने कहा कि भारत सरकार ने देश के विकास और जनता के कल्याण के लिए स्वच्छ भारत अभियान, मेक इन इंडिया, डिजिटल भारत, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, प्रधानमंत्री जन-धन योजना, प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना, प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना, अटल पेंशन योजना, सांसद आदर्श ग्राम योजना, राष्ट्रीय साक्षरता मिशन, स्टैंड अप इंडिया तथा दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति जैसी योजनाओं आरंभ की है, जो देश की छवि बदल रही है। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार भी केंद्र की योजनाओं को आगे बढ़ाते हुए कमजोर वर्गों के लिए भामाशाह योजना, न्याय आपके द्वार और मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान जैसी महत्वाकांक्षी योजनाएं संचालित कर रही है।

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