- May 7, 2015
रवींद्र पाटिल की दर्द नाक मौत : सलमान खान का ‘हिट एंड रन’
मुंबई पुलिस का कांस्टेबल रवींद्र पाटिल ‘हिट एंड रन’ मामले में एक प्रमुख गवाह था। पाटिल ही वो शख्स था जिसने इस केस की हकीकत बयां की। वह इस केस के बारे में सब कुछ जानता था। लेकिन इस केस के चश्मदीद गवाह रहे रवींद्र पाटिल आज इस दुनिया में नहीं है। उसकी 2007 में ही मौत हो गई थी।
बताया जाता है कि रवींद्र पर गवाही से मुकरने का भारी दबाव था। परिवार से अलग होने के बाद रवींद्र अचानक घर से लापता हो गया था। 2007 में वह सेवरी म्युनिसिपल अस्पताल से मिला। अस्पताल आने से पहले उसे सड़कों पर भीख मांगते देखा गया था। अत्याधिक शराब पीने के कारण उसे टीबी हो गई थी और उसने अस्पताल में ही दम तोड़ दिया।
पाटिल पर था भारी दबाव
बताया जाता है कि रवींद्र पाटिल उस पर बयान बदलने को लेकर बहुत ज्यादा दबाव था। खबरों के मुताबिक कई लोगों ने उस पर बयान बदलने के लिए दवाब डाला, ताकि सलमान खान जेल जाने से बच सकें। लेकिन पाटिल ने आखिरी सांस तक बयान नहीं बदला।
उस पर पुलिस का भी भारी दबाव था। कोर्ट कचहरी के चक्करों ने भी उसे परेशान किया। बार-बार बुलाए जाने से वो इस कदर परेशान हुआ कि कोर्ट जाना ही छोड़ दिया। इस कारण उसे पुलिस ने गिरफ्तार भी किया। एक दिन वह गायब हो गया और जब मिला तो पहचाने जाने लायक नहीं रहा। कुछ दिन अस्पताल में रहने के बाद उसकी मौत हो गई।
मरते दम तक नहीं पलटा पाटिल
रवींद्र पाटिल मुंबई पुलिस का होनहार कांस्टेबल था। 2002 में जब सलमान को अंडरवर्ल्ड से धमकी मिली तो उसे सलमान की सुरक्षा में तैनात किया गया था। कार हादसे वाली रात पाटिल भी सलमान के साथ था। हादसे के बाद पाटिल ने बयान दिया था कि सलमान ने शराब पी रखी थी और उसने सलमान से गाड़ी धीमी चलाने को कहा था, उसने कहा था कि आगे मोड़ है, लेकिन सलमान नहीं माने।
पाटिल का यही बयान कोर्ट में सलमान पर भारी पड़ा। इस मामले में जाने कितने गवाह पलट गए, लेकिन पाटिल ने कभी अपना बयान नहीं बदला। इसी बयान ने सलमान को 5 साल की सजा दिलाने में अहम भूमिका निभाई।