दूसरों की प्रगति में योगदान देना ही तरक्की का मानदंड: राज्यपाल श्री पटेल

दूसरों की प्रगति में योगदान देना ही तरक्की का मानदंड: राज्यपाल श्री पटेल

राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने कहा है कि जीवन में खुशहाली और तरक्की का मानदंड दूसरों की खुशी और प्रगति में योगदान है। दीक्षांत जीवन की शिक्षा और समाज की सेवा के दायित्व को ग्रहण करने का शुभारम्भ है। आज ली गयी शपथ के हर शब्द को भावी जीवन के 365 दिन याद रखना होगा। उन्होंने कहा कि जीवन में कहीं भी रहें, कोई भी काम करें, अपनी मातृभूमि और माता-पिता की जरूरतों का ध्यान रखें। कोई भी ऐसे कार्य न करें, जो उनके सम्मान के प्रतिकूल हो।

राज्यपाल श्री पटेल पीपुल्स विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित दीक्षांत समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने शोधार्थियों, उपाधि और पदक प्राप्तकर्ताओं को पुरस्कृत किया। राज्यपाल का स्वागत विश्वविद्यालय की प्रति कुलाधिपति डॉ. मेघा विजयवर्गीय ने किया।

राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने विद्यार्थियों का आहवान किया है कि जीवन में हमेशा मन में सीखने की इच्छा को बनाकर रखना चाहिए। ज्ञान का कोई अंत नहीं होता है। भावी जीवन की चुनौतियों का सदैव ज्ञान के प्रकाश में अवलोकन करें। जीवन की शिक्षा का पहला सूत्र है कि सफलता का कोई शॉर्टकट नहीं होता। निरंतर प्रयास और कड़े परिश्रम का कोई विकल्प नहीं है। विपरीत परिस्थितियों में भी निष्ठावान-चरित्र, व्यापक-सोच, आत्म-विश्वास और अथक-प्रयासों से असंभव भी संभव होता है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 21वीं सदी की चुनौतियों का सामना करने में सक्षम पीढ़ी-निर्माण के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति को लागू किया है। उन्होंने युवाओं को बंधन मुक्त शिक्षा के द्वारा अपने हौंसलों से सफलता की अनंत ऊँचाइयों को छूने का अवसर दिया है।

राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि आधुनिकता के लिए विज्ञान और प्रौद्योगिकी के साथ प्रगतिशील सोच भी जरूरी है, जो हर वर्ग की बराबरी और भाईचारे के साथ समाज को आगे बढ़ाये। विश्वविद्यालयों का दायित्व है कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति अनुरूप शैक्षणिक गुणवत्ता, व्यावसायिक दक्षता, अनुसंधान और मौलिक शोध के अनुकूल वातावरण बनायें। प्रतिभावान छात्रों को उनकी पूर्ण क्षमता का अहसास करा कर, सामाजिक चुनौतियों के समाधान खोजने की प्रेरणा और प्रोत्साहन दें। छात्र-छात्राओं को समाज के पिछड़े, वंचित वर्गों के कल्याण के प्रति सामाजिक सरोकारों में सहभागिता की अनुभूति और अनुभव दिलायें।

स्वागत उद्बोधन में कुलपति डॉ. राजेश कपूर ने बताया कि विश्वविद्यालय द्वारा शिक्षा की सर्वांगीण उत्कृष्टता के लिए ज्ञान एवं विज्ञान के विस्तार के क्षेत्र में पूर्ण शक्ति और एकाग्रता के साथ कार्य किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि कोवैक्सीन के क्लीनिकल ट्रायल के लिए मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में एक मात्र चयनित केंद्र, पीपुल्स विश्वविद्यालय था। उन्होंने विद्यार्थियों को दीक्षांत शपथ दिलाई। विश्वविद्यालय की कुल सचिव सुश्री नीरजा मलिक ने आभार माना।

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