अमेरिकी खुफिया एजेंसी CIA का दानवीय प्रताड़ना : रेक्टल फीडिंग

अमेरिकी खुफिया एजेंसी CIA का दानवीय प्रताड़ना  : रेक्टल फीडिंग

आज तक –   किसी कैदी को अगर बेहद भयंकर तरीके से प्रताड़‍ित करना हो, तो उसका तरीका अमेरिकी एजेंसी CIA से बेहतर शायद ही कोई और बता सके. मतलब ‘थर्ड डिग्री’ देने के मामले में दुनियाभर में CIA का कोई जोड़ नहीं है. एक रिपोर्ट से इन बातों की पुष्टि‍ हुई है. cia-s_325_121014091649

सीनेट की खुफिया समिति की रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका में 2001 में हुए आतंकी हमले के बाद कैदियों से सीआईए की पूछताछ के तरीकों में उन्हें मरने के काफी करीब पहुंचने का आभास कराना, कपड़े उतरवाना, 180 घंटे तक सोने नहीं देना और ‘रेक्टल फीडिंग’ जैसी प्रताड़ना शामिल थी.

‘रेक्टल फीडिंग’ के तहत किसी व्यक्ति के गुदा मार्ग से शरीर में नमकीन पानी (स्लाइन सॉल्यूशन) चढ़ाया जाता है. सीनेट की खुफिया समिति द्वारा जारी रिपोर्ट से प्रताड़ना के इन तरीकों का खुलासा हुआ है. 11 सितंबर, 2001 के आतंकी हमलों के बाद जॉर्ज डब्ल्यू प्रशासन के तहत इन तरकीबों का इस्तेमाल किया गया था. इसमें समुद्र में गुप्त ठिकाने पर रखे गए कैदियों के ब्योरे हैं, जिन्हें 180 घंटे तक सोने नहीं दिया जाता था. मौत के करीब होने का आभास कराया जाता था और उनके रिश्तेदारों तक को धमकियां दी जाती थी.

सीआईए ने अन्य तकनीकों के इस्तेमाल के अलावा कम से कम दो ‘दिखावटी’ मौतें दी थी, जिसकी एजेंसी ने रिपोर्ट नहीं रखी. अन्य प्रताड़नाओं में कपड़े उतरवाना, ठीक से खाने-पीने नहीं देना, ठंडे तापमान में रखना, शरीर पर ठंडा पानी डालना आदि शामिल हैं. ‘दिखावटी’ मौत देने में कैदी की नसों पर दबाव डालना, उसके चेहरे पर सिगरेट या सिगार का धुआं फेंकना, कैदियों से पूछताछ के लिए ठंडे पानी का इस्तेमाल करना, एक ही स्थिति में बिठाए रखना (हार्ड टेकडाउन) आदि शामिल है.

इन सख्त या ‘हार्ड टेक डाउन’ कार्रवाई में सीआईए के अधिकारी किसी कैदी की कोठरी में जाते थे, उसके कपड़े उतरवा देते थे और एक लंबे हॉल में उसे ऊपर-नीचे दौड़ाते थे. साथ ही, उसे थप्पड़ और घूंसे भी मारते थे.

रिपोर्ट में कहा गया है कि कॉरीडोर से दौड़ते वक्त ये कैदी कई बार गिर जाते थे और इसके बाद उन्हें घसीटा जाता था. करीब 500 पेज की यह रिपोर्ट अलकायदा के संदिग्ध सदस्यों से पूछताछ के बारे में सीआईए की अब तक की सबसे नृशंस पूछताछ का खुलासा करती है. इसमें कम से कम 119 लोगों को गुप्त रूप से कैद में रखे जाने के बारे में सूचना है.

इस रिपोर्ट के जारी होने पर अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा है कि सीआईए की कार्रवाई ने दुनिया में अमेरिका की छवि को नुकसान पहुंचाया और ये चीजें हमारी सोच के खिलाफ हैं. गौरतलब है कि सीआईए ने अक्सर ‘सोने नहीं देने’ की तरकीब का इस्तेमाल किया. इसके तहत कैदियों को 180 घंटों तक सोने नहीं दिया जाता है और उन्हें खड़ा या कष्टदायक स्थिति में रखा जाता है और उनके हाथ सिर के ऊपर होते हैं. रिपोर्ट में कहा गया है कि कम से कम पांच कैदियों को ‘रेक्टल रिहाइड्रेशन’ या ‘रेक्टल फीडिंग’ की गई.

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