• July 23, 2022

संविधान ‘सेकुलर’ शब्द हटाने की मांग

संविधान ‘सेकुलर’ शब्द हटाने की मांग

पटना. राष्ट्रपति चुनाव में बड़ी बहुमत से द्रौपदी मुर्मू के जीत के बाद बिहार की राजनीति में एक नई चर्चा शुरू हो गई है. भारत के संविधान ‘सेकुलर’ शब्द हटाने की मांग उठने लगी है. जदयू के पूर्व प्रवक्ता अजय आलोक ने देश के प्रधान मंत्री से बड़ी मांग करते हुए कहा है कि मेरी और मेरे साथ पूरे भारत के लोगों की अपील है कि इसी मॉनसून सत्र में विपक्ष की मौजूदगी में संविधान से ”सेकुलर” शब्द नाम का कलंक हटा कर बाबा साहब को श्रधांजलि दी जाए.

अजय आलोक ने इसके लिए अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्विटर को चुना और अपने ट्वीट को पीएमओ और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को टैग भी किया. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा, ‘सेकुलर’ शब्द संविधान में विपक्ष की गैरमौजूदगी में जोड़ा गया था, मगर उनकी मौजूदगी में हटा दीजिए. पूरा देश देखना चाहेगा कि इस शब्द को हटाने का विरोध कौन कर रहा है. खुलकर सामने आना चाहिए ऐसे लोगों को.

अजय आलोक ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया है.

अजय आलोक ने कहा कि इस देश में कोई ‘सेकुलर’ नहीं है; सभी अपने धर्म में आस्था रखते हैं और पूजा, इबादत, प्रार्थना करते हैं. सिर्फ कट्टरवादी चाहते हैं सेकुलरिज्म की आड़ में दूसरे धर्म के लोगों को निशाना बनाया जाए. इसमें पहले निशाने पे हिंदू हैं; जो दूसरे धर्म का सम्मान करते हैं. संभल जाओ सब लोग.

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