कानपुर : नोट गिनने के लिए 14 मशीनें: 51 घंटे की कार्रवाई के बाद 181 करोड़ रुपये कैश — कुबेर

कानपुर :  नोट गिनने के लिए 14 मशीनें:  51 घंटे की कार्रवाई के बाद 181 करोड़ रुपये कैश — कुबेर

महानिदेशालय जीएसटी इंटेलिजेंस (डीजीजीआई) अहमदाबाद की टीम ने इत्र कारोबारी पीयूष जैन को आनंदपुरी स्थित आवास से शुक्रवार देर रात हिरासत में ले लिया। महानिदेशालय के सर्वोदय नगर स्थित कार्यालय में ले जाकर पूछताछ की गई। आधा घंटा बाद टीम उसे लेकर कन्नौज रवाना हो गई। यहां स्थित घर पर फिंगर लॉक वाले लॉकरों को खुलवाया गया। देर रात टीम को कन्नौज में पीयूष के घर में बने तहखाने में रुपयों की गिनती के लिए मशीन मंगवाई गई।

टीम को लगातार 51 घंटे की कार्रवाई के बाद 181 करोड़ रुपये कैश मिला है। 177 करोड़ रुपये आनंदपुरी स्थित घर से और चार करोड़ कन्नौज से बरामद हुए हैं। आनंदपुरी से एक और कन्नौज से दो तिजोरियां (फिंगर प्रिंट से संचालित) भी मिली हैं। इत्र कारोबारी के बेटों प्रत्युष, प्रियांश जैन हिरासत में लिए जा चुके हैं। कर चोरी की आशंका में बुधवार को डीजीजीआई की टीमों ने शिखर पान मसाला, गणपति ट्रांसपोर्ट के यहां छापा मारा था। 

इत्र कारोबारी पीयूष जैन के कानपुर, कन्नौज, गुजरात, मुंबई स्थित घर, फैक्ट्री, ऑफिस, कोल्डस्टोरेज और पेट्रोल पंप पर कार्रवाई शुरू की गई। 

शिखर पान मसाला ब्रांड मेसर्स त्रिमूर्ति फ्रेगरेंस प्राइवेट लिमिटेड कंपनी नाम से पान मसाला और तंबाकू बनाती है। इत्र कारोबारी पीयूष जैन की कंपनी मेसर्स ओडोचेम कंपनी कन्नौज में इत्र का कारोबार करती है। 

इत्र कारोबारी के बेटे प्रत्युष, प्रियांश जैन और भतीजे मोलू को पहले ही हिरासत में लिया जा चुका है। पीयूष जैन को कानपुर या कन्नौज में किसी गुप्त ठिकाने पर रखा गया है।

42 बक्सों में भरकर कैश एसबीआई में जमा कराया

पीयूष जैन के यहां तीन दिन तक चली जांच के बाद 42 (पहले 25, दूसरी बार में 17) बक्सों के जरिये कैश एसबीआई स्थित मुख्यालय में जमा कराया गया है। नोट गिनने के लिए 14 मशीनें लगी थीं।
 
लाखों का माल, 50 हजार से कम बिल्टी बनाकर किया घपला

तीनों कारोबारी आपस में सांठगांठ कर फर्जी ई-वे बिल, इनवाइस के जरिये माल इधर उधर भेजते थे। ई-वे बिल से बचने के लिए ज्यादातर ये लोग 50 हजार से कम के माल की बिल्टी बनाते थे। भले ट्रक में माल लाखों का भरा हो। कुछ समय पहले गुजरात में ऐसे ही फर्जीवाड़े में पकड़े गए ट्रकों के आधार पर टीम यहां तक पहुंची थी।

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