मोदी सरकार के काले सुधार का स्विस बैंक में काला धन 50% अधिक

मोदी सरकार के काले सुधार का स्विस बैंक में काला धन 50% अधिक

आज तक ———– भारतीयों का स्विस बैंकों में जमा धन चार साल में पहली बार बढ़ कर पिछले साल एक अरब स्विस फ्रैंक (7,000 करोड़ रुपए) के दायरे में पहुंच गया जो एक साल पहले की तुलना में 50 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है.

स्विट्जरलैंड के केंद्रीय बैंक के ताजा आंकड़ों में यह बात सामने आयी है. इसके अनुसार भारतीयों द्वारा स्विस बैंक खातों में रखा गया धन 2017 में 50% से अधिक बढ़कर 7000 करोड़ रुपए (1.01 अरब फ्रैंक) हो गया.

इससे पहले तीन साल यहां के बैंकों में भारतीयों के जमा धन में लगातार गिरावट आई थी. अपनी बैंकिंग गोपनीयता के लिए पहचान बनाने वाले इस देश में भारतीयों के जमाधन में ऐसे समय दिखी बढ़ोतरी हैरान करने वाली है. जबकि मोदी सरकार विदेशों में कालाधन रखने वालों के खिलाफ अभियान चलाने का दावा करती आ रही है.

स्विस नेशनल बैंक (एसएनबी) के सालाना आंकड़ों के अनुसार स्विस बैंक खातों में जमा भारतीय धन 2016 में 45 प्रतिशत घटकर 67.6 करोड़ फ्रैंक (लगभग 4500 करोड़ रुपए) रह गया. एक तरफ भारतीयों के पैसे में बढ़ोतरी हुई है तो वहीं पाकिस्तानियों की जमापूंजी में करीब 21 फीसदी की गिरावट आई है.

यह राशि 1987 से इस आंकड़े के प्रकाशन की शुरुआत के बाद से सबसे कम थी. एसएनबी के आंकड़ों के अनुसार भारतीयों द्वारा स्विस बैंक खातों में सीधे तौर पर रखा गया धन 2017 में लगभग 6891 करोड़ रुपये (99.9 करोड़ फ्रैंक) हो गया. वहीं, प्रतिनिधियों या धन प्रबंधकों के जरिए रखा गया धन इस दौरान 112 करोड़ रुपये (1.62 करोड़ फ्रैंक) रहा.

ताजा आंकड़ों के अनुसार स्विस बैंक खातों में जमा भारतीयों के धन में ग्राहक जमाओं के रूप में 3200 करोड़ रुपये, अन्य बैंकों के जरिए 1050 करोड़ रुपये शामिल है. इन सभी मदों में भारतीयों के धन में आलोच्य साल में बढ़ोतरी हुई.

स्विस बैंक खातों में रखे भारतीयों के धन में 2011 में इसमें 12%, 2013 में 43%, 2017 में इसमें 50.2% की वृद्धि हुई. इससे पहले 2004 में यह धन 56% बढ़ा था.

एसएनबी के ये आंकड़े ऐसे समय में जारी किए गए हैं जबकि कुछ महीने पहले ही भारत व स्विटजरलैंड के बीच सूचनाओं के स्वत: आदान प्रदान की एक नयी व्यवस्था लागू की गई है. इस व्यवस्था का उद्देश्य काले धन की समस्या से निजात पाना है.

इस बीच स्विट्जरलैंड के बैंकों का मुनाफा 2017 में 25% बढ़कर 9.8 अरब फ्रैंक हो गया. हालांकि, इस दौरान इन बैंकों के विदेशी ग्राहकों की जमाओं में गिरावट आई. इससे पहले 2016 में यह मुनाफा घटकर लगभग आधा 7.9 अरब फ्रैंक रह गया था.

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