स्मार्ट शहरों के अलावा अन्य शहरों के लिए स्मार्ट सिटी मिशन

स्मार्ट शहरों के अलावा अन्य शहरों के लिए  स्मार्ट सिटी मिशन

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने केन्द्र सरकार द्वारा चुने गए स्मार्ट शहरों के अलावा अन्य शहरों के लिए राज्य का अपना स्मार्ट सिटी मिशन बनाने की पहल करने के निर्देश दिए हैं। स्मार्ट सिटी का चयन भारत सरकार द्वारा स्मार्ट सिटी के लिए तय किए गए मापदण्डों पर होगा।

आज यहाँ विधानसभा के सभागार में स्मार्ट सिटी के संबंध में प्रस्तुतिकरण के दौरान इस संबंध में निर्देश देते हुए कहा कि हर शहर की अपनी विशेषता है। स्मार्ट सिटी की अवधारणा में इसका ध्यान रखा जाना चाहिए। इस संदर्भ में उन्होंने उज्जैन शहर के धार्मिक एवं आध्यात्मिक स्वरूप को देखते हुए धार्मिक पर्यटन पर विशेष जोर देने को कहा। उन्होंने कहा कि क्षिप्रा नदी के घाटों का विकास विश्व स्तरीय होना चाहिए।

उल्लेखनीय है कि केन्द्र सरकार द्वारा 100 शहर का चयन स्मार्ट सिटी के लिये किया जाना है। मध्यप्रदेश के सात शहर भोपाल, इन्दौर, जबलपुर, ग्वालियर, सागर, उज्जैन, सतना को स्मार्ट सिटी परियोजना में शामिल किया गया है। पहले चरण में जनवरी 2016 के आखिरी तक 20 शहर को चुना जाना है।cm-smart-city-ppt

यह भी उल्लेखनीय है कि केन्द्र की स्मार्ट सिटी परियोजना में पात्र होने के लिए 43 बिन्दुओं के आधार पर प्रस्ताव भेजना था। इसमें मुख्य रूप से विकास की रणनीति, भविष्य की सोच, क्षेत्र आधारित योजना निर्माण, शहर के लिए प्रबंधन और वित्तीय व्यवस्था, क्षमता एवं अवसर पर आधारित आंकलन पर प्रस्ताव भेजना था। स्मार्ट सिटी के चयन के लिए नागरिकों से परामर्श लिया गया और उनके सुझावों के आधार पर प्रस्ताव तैयार किए गए।

मुख्यमंत्री ने चयनित शहरों की प्रस्तावित योजनाओं एवं शहरी प्रबंधन रणनीतियों की समीक्षा की। उन्होंने नवाचार, दूसरे शहरों में अमल करने योग्य योजनाएँ, वित्तीय व्यवस्था और वर्तमान में जारी योजनाओं के साथ समन्वय पर विचार-विमर्श किया।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री इकबाल सिंह बैंस, सचिव श्री विवेक अग्रवाल एवं वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

Related post

सिक्किम की नदियाँ खतरे में !

सिक्किम की नदियाँ खतरे में !

लखनउ (निशांत सक्सेना) —— तीस्ता -III परियोजना पर वैज्ञानिक पुनर्मूल्यांकन और लोकतांत्रिक निर्णय की माँग जब भी…
हमारे भारत में, लाखों लोग यहां रह रहे हैं, जिन्हें रहने का कोई अधिकार नहीं है

हमारे भारत में, लाखों लोग यहां रह रहे हैं, जिन्हें रहने का कोई अधिकार नहीं है

पीआईबी : (नई दिल्ली)  उप राष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़  ने अवैध प्रवास पर गंभीर चिंता व्यक्त…
भाषा मानवता को समझने का एक पासपोर्ट है- श्री टिम कर्टिस, निदेशक, यूनेस्को प्रतिनिधि

भाषा मानवता को समझने का एक पासपोर्ट है- श्री टिम कर्टिस, निदेशक, यूनेस्को प्रतिनिधि

पीआईबी दिल्ली : इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र (आईजीएनसीए) ने 21 और 22 फरवरी 2025 को…

Leave a Reply