• July 4, 2018

शाबास ! हरियाणा की कलस्टर पॉलिसी का अनुसरण करें, पत्रादेश जारी — केंद्रीय अतिरिक्ति विकास आयुक्त पीयूष श्रीवास्तव

शाबास ! हरियाणा की कलस्टर पॉलिसी का  अनुसरण करें,  पत्रादेश जारी — केंद्रीय अतिरिक्ति विकास आयुक्त पीयूष श्रीवास्तव

चंडीगढ़——– हरियाणा सरकार द्वारा की गई एक और पहल केंद्र सरकार को रास आई है। केंद्र की मोदी सरकार ने हरियाणा में लघु, सूक्षम एवं मध्यम उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए बनाए गए कलस्टर को लेकर न केवल शाबासी दी है बल्कि देशभर को हरियाणा का अनुसरण करने की हिदायतें दी हैं।

अकेले उद्योग विभाग की यह दूसरी योजना होगी, जिसे अब सभी राज्य लागू करेंगे।

कलस्टर स्थापित करने की योजना केंद्रीय सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय द्वारा शुरू की गई, लेकिन इसे लागू करने में हरियाणा टॉप पर रहा है। राज्य में पिछले आठ महीनों के पीरियड में 25 जगहों पर कलस्टर स्थापित किए जा चुके हैं। केंद्रीय मंत्रालय के अतिरिक्ति विकास आयुक्त पीयूष श्रीवास्तव की ओर से इस संदर्भ में देशभर के सभी राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों को चिठ्ठी जारी कर हरियाणा की नीतियों को अपने यहां लागू करने के निर्देश दिए हैं।

हरियाणा की अप्रेंटिसशिप पॉलिसी की केंद्र द्वारा तारीफ की जा चुकी है। राजस्थान सहित कई राज्यों की सरकारों द्वारा राज्य सरकार को इस संदर्भ में पत्र लिखकर मार्गदर्शन भी मांगा गया है। याद दिलाते चलें कि हरियाणा में शिक्षकों की ऑनलाइन ट्रांसफर पॉलिसी की खुद पीएम नरेंद्र मोदी भी प्रशंसा कर चुके हैं और पंजाब, उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों ने इसे अपने यहां लागू भी किया है।

राज्य के उद्योग एवं पर्यावरण मंत्री विपुल गोयल द्वारा कलस्टर योजना को लेकर लगातार की जा रही मॉनिटरिंग के परिणामस्वरूप ही राज्य में 25 कलस्टर स्थापित हुए हैं। आटोमोबाइल, फूड, टैक्सटाइल, इंजीनियरिंग सहित कई क्षेत्रों के लिए स्थापित किए गए कलस्टर एमएसएमई के लिए वरदान साबित हो रहे हैं। इन छोटे उद्यमियों को एक छत के नीचे ही अपने उद्यम चलाने व उत्पादन के लिए बेहतर माहौल मिल रहा है।

पंद्रह करोड़ रुपये तक के कलस्टर के लिए राज्य सरकार द्वारा अपने 10 प्रतिशत के हिस्से को बढ़ाकर 20 प्रतिशत किया जा चुका है। यानी कुल कीमत का 70 प्रतिशत खर्चा केंद्र सरकार, 20 प्रतिशत राज्य सरकार और मात्र 10 प्रतिशत संबंधित उद्यमियों द्वारा खर्च किया जाता है। यही नहीं, 20 करोड़ रुपये तक के प्रोजेक्ट में राज्य सरकार की ओर से 50 प्रतिशत तक पैसा वहन किया जा रहा है।

एमएसएमई टॉप एजेंडे पर

एमएसएमई यानी सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग हरियाणा सरकार के टॉप एजेंडे में शामिल हैं। हरियाणा में इस तरह के एक लाख उद्योगों में 5 हजार करोड़ रुपये के निवेश की संभावना है। इससे 10 लाख से अधिक लोगों को रोजगार के अवसर हासिल होंगे।

सस्ती बिजली

प्रदेश में एमएसएमई उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए राज्य सरकार की ओर से बिजली के रेट भी घटाए जा चुके हैं। बड़े उद्योगों की तुलना में इन उद्योगों को लगभग 2 रुपये प्रति यूनिट सस्ती बिजली दी जा रही है। इस संदर्भ में सरकार नोटिफिकेशन भी कर चुकी है।

क्या कहते हैं उद्योग मंत्री

उद्योग मंत्री श्री विपुल गोयल ने कहा कि हमारी कोशिश है कि लघु, सूक्ष्म एवं मध्यम वर्ग के उद्यमियों को बेहतर माहौल एवं सुविधाएं प्रदान की जाएं। कलस्टर योजना इसमें कारगर सिद्ध हो रही है। अभी तक 25 जगहों पर विभिन्न कैटेगरी के कलस्टर स्थापित किए गए हैं।

योजना का रुझान इस बात से लगा सकते हैं कि राज्यभर के छोटे उद्योगपति अपने यहां कलस्टर के लिए आगे आ रहे हैं।

Related post

मणिपुर की सुरक्षा स्थिति पर एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक

मणिपुर की सुरक्षा स्थिति पर एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक

PIB Delhi——– केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने नई दिल्ली में मणिपुर की…
कोयला प्रेषण फरवरी 2025 तक 178.02 मीट्रिक टन

कोयला प्रेषण फरवरी 2025 तक 178.02 मीट्रिक टन

PIB Delhi——- भारत का कोयला क्षेत्र फरवरी 2025 तक उत्पादन और प्रेषण दोनों में उल्लेखनीय वृद्धि के साथ…
संजय भंडारी कर चोरी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों में भारत में वांछित-प्रत्यर्पण के खिलाफ अपील जीत : लंदन के उच्च न्यायालय

संजय भंडारी कर चोरी और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों में भारत में वांछित-प्रत्यर्पण के खिलाफ अपील…

लंदन, (रायटर) –  एक भारतीय व्यवसायी ने ब्रिटेन से प्रत्यर्पण के खिलाफ अपनी अपील जीत ली,…

Leave a Reply