प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना की समीक्षा

प्रधानमंत्री  कृषि  सिंचाई  योजना की समीक्षा

सरयू नहर (राष्ट्रीय) परियोजना, अर्जुन सहायक नहर परियोजना तथा मध्य गंगा नहर परियोजना
*******************************************************

लखनऊ :——–उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लोकभवन में प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत सरयू नहर (राष्ट्रीय) परियोजना, अर्जुन सहायक नहर परियोजना तथा मध्य गंगा नहर परियोजना-द्वितीय चरण की प्रगति की समीक्षा की।

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में सिंचन क्षमता बढ़ाकर किसानों की उपज में वृद्धि करना चाहती है ताकि वर्ष 2022 तक उनकी आय को दोगुना करने का लक्ष्य हासिल किया जा सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार किसानों के हित में प्रदेश की सिंचन क्षमता में वृद्धि करने के लिए कटिबद्ध है।

समीक्षा के दौरान मुख्यमंत्री को प्रमुख सचिव सिंचाई श्री टी0 वेंकटेश द्वारा सरयू नहर परियोजना की प्रगति के विषय में अवगत कराया गया कि इस परियोजना का उद्देश्य पूर्वी उत्तर प्रदेश के 09 जनपदों में 14.04 लाख हेक्टेयर सिंचन क्षमता का सृजन करना है। इससे इस क्षेत्र के 29.74 लाख किसान लाभान्वित होंगे। वर्तमान में परियोजना की भौतिक प्रगति 75 प्रतिशत है और इसके दिसम्बर, 2019 तक पूर्ण होने की सम्भावना है। योजना की पुनरीक्षित लागत लगभग 09 हजार 802 करोड़ रुपए है।

अर्जुन सहायक परियोजना की प्रगति पर प्रकाश डालते हुए प्रमुख सविच सिंचाई ने मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया कि इसका उद्देश्य बुन्देलखण्ड क्षेत्र के 03 जनपदों में 44 हजार 381 हेक्टेयर सिंचन क्षमता का सृजन तथा 15 हजार 104 हेक्टेयर की पुनःस्थापना एवं महोबा शहर को 20 एम0सी0एम0 पेयजल उपलब्ध कराना है। इससे महोबा, हमीरपुर एवं बांदा जनपद के 168 ग्रामों के 1,49,755 कृषक लाभान्वित होंगे। परियोजना की पुनरीक्षित लागत लगभग 2594 करोड़ रुपए है। इसके दिसम्बर, 2019 में पूर्ण होने की सम्भावना है। परियोजना का 70 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो चुका है।

प्रमुख सचिव सिंचाई ने मुख्यमंत्री मध्य गंगा नहर परियोजना द्वितीय चरण के विषय में जानकारी देते हुए बताया कि इसका उद्देश्य अमरोहा, सम्भल तथा मुरादाबाद जनपदों में 1.46 लाख हेक्टेयर सिंचन क्षमता का सृजन करना है। इससे इन जनपदों के 1850 गांवों के 4.10 लाख कृषक लाभान्वित होंगे। इस परियोजना के दिसम्बर, 2019 में पूर्ण होने की सम्भावना है। परियोजना की पुनरीक्षित लागत लगभग 4,417 करोड़ रुपए है। इसका 39 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो चुका है।

मुख्यमंत्री ने इन तीनों परियोजनाओं के कार्यों को तेजी से पूर्ण करने के निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश की सभी नहरों में टेल तक पानी पहुंचाया जाए। साथ ही, सभी नहरों की सफाई की जाए ताकि पानी पहुंचने में आसानी हो। इस कार्य में आवश्यकतानुसार डेªजिंग की जाए। उन्होंने इन परियोजनाओं के अलावा सिंचाई विभाग द्वारा प्रदेश में लागू की जा रही अन्य सिंचाई परियोजनाओं को भी तेजी से पूर्ण करने के निर्देश दिए।

उन्होंने सिंचाई योजनाओं के सम्बन्ध में केन्द्र को भेजे जाने वाले प्रस्तावों को शीघ्रता के साथ भेजने के निर्देश दिए। उन्होंने प्रयाग कुम्भ-2019 के मद्देनजर गंगा नदी की धारा को ड्रेजिंग के माध्यम से चैनलाइज करने के भी निर्देश दिए।

बैठक में सिंचाई मंत्री श्री धर्मपाल सिंह, ऊर्जा मंत्री श्री श्रीकांत शर्मा, मुख्य सचिव डाॅ0 अनूप चन्द्र पाण्डेय, अपर मुख्य सचिव सूचना श्री अवनीश कुमार अवस्थी, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री श्री एस0पी0 गोयल, सचिव मुख्यमंत्री श्री मृत्युंजय कुमार नारायण सहित सिंचाई विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।

Related post

नेहरू से हमें जो सीखना चाहिए

नेहरू से हमें जो सीखना चाहिए

कल्पना पांडे————-इतने सालों बाद हमे शर्म से ये स्वीकार कर लेना चाहिए कि धार्मिक आडंबरों, पाखंड…
और सब बढ़िया…..!   अतुल मलिकराम (लेखक और राजनीतिक रणनीतिकार)

और सब बढ़िया…..! अतुल मलिकराम (लेखक और राजनीतिक रणनीतिकार)

अतुल मलिकराम ——– सुख और दुःख, हमारे जीवन के दो पहिये हैं, दोनों की धुरी पर…
भाग्यशाली मैं ….  – अतुल मलिकराम (लेखक और राजनीतिक रणनीतिकार)

भाग्यशाली मैं …. – अतुल मलिकराम (लेखक और राजनीतिक रणनीतिकार)

(व्यंग लेख ) अतुल मलिकराम  :-   आज कल जीवन जीने का ढंग किसी राजा महाराजा जैसा…

Leave a Reply