- September 30, 2016
पुलिस मित्र-आम जन की सेवा एवं अपराधियों में भय कायम
जयपुर, 30 सितम्बर,2016–“आम जन की सेवा एवं अपराधियों में भय कायम’’ रखने हेतु राजस्थान पुलिस 24 घन्टे सक्रिय रहती ही है लेकिन प्रदेश में ज्यादा से ज्यादा आम जन के जान माल की रक्षा हो, अमन चैन कायम हो इस हेतु प्रदेश स्तर पर वरिष्ठ पुलिस अधिकारी एवं रेंज एवं जिला स्तर पर पुलिस अधिकारी कोई न कोई नवाचार करते ही रहते हैं। प्रदेश के गृह मंत्री श्री गुलाब चन्द कटारिया भी मासिक समीक्षा बैठकों में पुलिस को कार्यकुशलता से कार्य करने एवं आम जन की बेहतर सेवा हेतु प्रोत्साहित करते रहते हैं ।
राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 8 पर बढ़ती औधोगिक गतिविधियों, दिल्ली हरियाणा, यूपी के पर्यटकों की बढती संख्या, वी.आई.पी व वीवीआईपी मूवमैन्ट, बडे होटलों में शादियों व पार्टियों के बडे आयोजन, निमार्णाधीन 6 लेन हाइवे, खनन गतिविधियों के चलते खनन सामग्री परिवहन करने वाले वाहनों का भारी दबाव, अन्तर्राज्यीय सीमाओं आदि के फलस्वरूप कानून व्यवस्था की दृष्टि से 9 फरवरी से कोटपूतली में हाइवे वार्डन(पुलिस मित्र) स्कीम की शुरूआत की गई।
प्रारम्भिक चरण में यह योजना प्रायोगिक तौर पर कोटपूतली सर्किल के कोटपूतली, प्रागपुरा तथा पनियाला थाना क्षेत्र में लागू की गई है। इसके तहत प्रारम्भिक चरण में 53 नागरिकों को ’’हाइ-वे वार्डन’’ (पुलिस मित्र) बनाया गया है। हाइवे वार्डन(पुलिस मित्र) के रूप में ऎसे व्यक्तियों का चयन किया गया है जो हाइवे पर होटल या दुकान चलाते हैं या जिनका हाइवे पर कोई मकान या प्रतिष्ठान है तथा जो स्वयं सेवक के रूप में कार्य करते हुये पुलिस की मदद करने के इच्छुक है।
हाइ-वे वार्डन स्कीम की पृष्ठभूमि बताते हुये अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक कोटपूतली श्रीमती कमल शेखावत कहती हैं कि हाइवे वार्डन के रूप में ऎसे स्वयं सेवकों को चयनित किया गया है जो दुर्घटना में घायलों की मदद करेंगे व फस्र्ट एड(प्राथमिक उपचार) सहायता देंगे। होटलों व ढाबों पर रुकने वाले, गुजरने वाले संदिग्ध व्यक्तियों व वाहनों की सूचना पुलिस के पास पहुंचाते हैं।
एक्सीडेंट या अन्य कारणों से यातायात जाम के दौरान आवश्यक व्यवस्था बनाने का प्रयास तथा विशिष्ट इंतजाम, जुलूस आदि के दौरान स्वयंसेवक के रूप में व्यवस्था करने में सहयोग कर रहे हैं। साथ ही समय-समय पर मीटिंग आयोजित कर फस्र्ट एड व सीपीआर का प्रशिक्षण दिया जाता है व संदिग्ध व्यक्तियों पर निगरानी एवं मार्गदर्शन हेतु परिचर्चाएं आयोजित की जाती हैं।
उन्होंने बताया कि हाइवे वार्डन (पुलिस मित्र) के रूप में जो स्वयंसेवक उत्कृष्ट कार्य करेंगे उन्हेें उचित मंच से सम्मानित भी किया जायेगा। स्कीम के शुभारम्भ के अवसर पर पुलिस अधीक्षक (जयपुर ग्रामीण) डॉ. रामेश्वर सिंह ने कहा कि ‘‘हाईवे वार्डन्स स्वयंसेवक के रूप में पुलिस के साथ मिलकर बेहतर कार्य करें’’। कार्यक्रम में सहायता ट्रस्ट द्वारा सभी हाइवे वार्डन(पुलिस मित्र) को मैनिकिन की मदद से सी.पी.आर संबंधी प्रशिक्षण दिया तथा नर्सिंग स्टाफ, एसएमएस अस्पताल द्वारा फस्र्ट एड सहायता संबंधी प्रशिक्षण दिया गया।