- November 21, 2018
नवजात के लिए मदर मिल्क बैंक की सेवा जनवरी से
प्रतापगढ़ से चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ ने अलवर में प्रषिक्षण
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प्रतापगढ़—— मां का दूध नवजात के लिए अमृत है। कोई भी कंपनी अबतक ऐसा फॉर्मूला नहीं बना पाई है, जो मां के दूध का मुकाबला कर सके। इसलिए डिब्बा बंद दूध पर लिखा रहता है, मां का दूध सर्वोत्तम है। दिक्कत तब होती है जब किन्हीं कारणों से मां अपने नवजात को दूध नहीं पिला पाती। यह बात षिषु रोग विषेषज्ञ डाॅ धीरज सेन ने कहीं।
कहा कि प्रतापगढ़ जिले में भी आंचल मदर मिल्क बैंक खोलने का कार्य तेजी से चल रहा है। जिसमें मां के दूध से वंचित रहने वाले नवजातों के लिए निषुल्क रूप से दूध उपलब्ध करवाया जाएगा। इसके जिला चिकित्सालय परिसर में एमसीएच विंग के समीप बिल्डिंग का निर्माण कार्य जारी है।
उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि इसके लिए गत दिनों अलवर जिले में पांच जिलों (नागौर, प्रतापगढ़ श्रींगंगानगर, झुन्झुनु, जैसलमेर )के चिकित्सकों और नर्सिंग कर्मिकों को प्रषिक्षण दिया गया। जिसमें बतौर मुख्य अतिथि अलवर जिला एवं सत्र न्यायालय (पाॅक्सो) न्यायाधीष श्री अजय शर्मा, विषिष्ट अतिथि पाॅक्सो कोर्ट अलवर से न्यायाधीष श्री देवेंद्र नागर एवं न्यायधीष श्री अखिलेष कुमार मुख्य रूप से कार्यक्रम में षिरकत किया।
इस अवसर पर चिकित्सा विभाग के राज्य सलाहकार योग गुरू देवेंद्र अग्रवाल की अगुवाई में प्रषिक्षण कार्यक्रम की विस्तृत रूपरेखा एवं प्रोजेक्ट के बारे में जानकारी दी। प्रषिक्षण कार्यक्रम में आईएपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डाॅ संतोष सोअन्स, आईवाईसीएफ के राष्ट्रीय सचिव डाॅ बलराज यादव, ह्यूमन मिल्क बैक एसोसिएषन आॅफ इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष डाॅ सतीष तिवारी व नकोन के अध्यक्ष डाॅ विक्रम दत्ता सचिव डाॅ सुषील श्रीवास्तव एवं टीम की सदस्या जीना प्रदीप ने अस्पताल में दी जाने वाली सेवाओं की गुणवत्ता बढ़ाने एवं बेस्ट प्रैक्टिेसेज के बारे में विस्तार से प्रषिक्षण दिया।
प्रषिक्षण कार्यक्रम के अलग-अलग चरणों में स्तनपान के तरीके, कंगारूकेयर, स्तनपान से जुड़ी माताओं की काउंसलिंग एवं मदर मिल्क बैंक की कार्यप्रणाली के बारे में पूरी जानकारी दी।
जिले में इन्होंने लिया प्रषिक्षणः-
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मदर मिल्क बैंक प्रभारी डाॅ धीरज सेन, नर्सिंग स्टाफ चेतना टेलर, रेखा आचार्य, मोहिनी, मधु राठौड़, विपुला सुथार, विजया शर्मा, किरण मीणा।
इनकों मिलेगी सुविधा
प्रसव के दौरान किसी मां की मौत हो जाती है या चिकित्सकीय कारणों से मां अपने बच्चे को दूध नहीं पिला पा रही, या फिर मां का दूध बच्चे के लिए पर्याप्त नहीं है। तो वैसे बच्चों को यहां से निशुल्क दूध उपलब्ध कराया जाएगा।
कहां से आएगा दूधः- जिन माताओं को दूध का स्राव अधिक होता है, एवं उनके बच्चों को पेट भर पिलाने के बाद भी थोड़ा बहुत दूध शेष बचता है। ऐसी माताएं मदर मिल्क बैंक में दूध दान कर सकती है। इसके लिए उन्हें प्रेरित कर मदर मिल्क बैंक का लाया जाएगा।
शुद्ध दूध के लिए होंगे सभी उपाय
मदर मिल्क बैंक में दूध जमा करने को लेकर सुरक्षित प्रक्रिया अपनाई जाएगी। पहले दूध की चिकित्सकीय जांच होगी। शुद्ध करने के बाद इन्हें बच्चों को उपलब्ध कराया जाएगा। बैंक में स्टोर,लैब सहित तमाम अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध होगी।
वर्जन……ह्यूमन मिल्क बैंक खोलने की दिशा में प्रक्रिया चल रही है। जनवरी माह तक इसकी शुरूआत की जानी है। इसके लिए स्टाफ को प्रषिक्षण दिया गया है।
डाॅ धीरज सेन, मदर मिल्क बैंक प्रभारी,