जीएसटी पर नजर रखने के लिए केन्द्रीय निगरानी समिति गठित

जीएसटी पर नजर रखने के लिए  केन्द्रीय निगरानी समिति गठित

पीआईबी ————— केन्द्रीय निगरानी समिति की तीन बैठकें 2,11 और 18 जुलाई को सम्पन्न हुई हैं। संबंधित रिपोर्टों में निम्नलिखित मुद्दों के बारे में विभिन्न मंत्रालयों और विभागों से प्राप्त फीडबैक का ब्योरा शामिल हैः

जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) के बारे जानकारी प्रसारित करने के लिए विभाग द्वारा उठाए गए कदम।
जिन हितधारकों का अब तक पंजीकरण नहीं हुआ है।

जीएसटी से पहले और इसके लागू होने के बाद उत्पादों की कीमतों की स्थिति।

प्रत्येक विभाग में गठित जीएसटी प्रकोष्ठ को प्राप्त सवाल एवं इनका समाधान।

विभाग वार एफएक्यू (प्रायः पूछे जाने वाले प्रश्न), इसके हितधारकों के बीच इस बारे में जानकारी देना।
सफलता की वे गाथाएं जिनके बारे प्रचार-प्रसार किया जा सकता था।

मंत्रालय की आवश्यकतानुसार जीएसटी पर क्षेत्र विशेष प्रशिक्षण।

उत्पादों की किल्लत, यदि कोई हो ।

जीसएटी के तात्कालिक एवं दीर्घकालिक फायदे निम्नलिखित हैः

कारोबारी लेन-देन में पारदर्शिता एवं जवाबदेही

टैक्स पर टैक्स लगने के असर में कमी और इनपुट टैक्स क्रेडिट का ज्यादा उपयोग
कर दरों को तर्कसंगत बनाना कारोबार करने में और ज्यादा आसानी।

इस आशय की जानकारी वित्त राज्य मंत्री श्री संतोष कुमार गंगवार ने आज लोकसभा में एक लिखित प्रश्न के उत्तर में दी।

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