औद्योगिक विकास योजना 2017 की घोषणा

औद्योगिक विकास योजना 2017 की घोषणा

शिमला ——- राज्य सरकार के अथक प्रयासों के परिणामस्वरूप भारत सरकार द्वारा औद्योगिक विकास योजना, 2017 की घोषणा की गई है, जो विनिर्माण और सेवा क्षेत्र के उद्यमों में लगी नई और मौजूदा औद्योगिक इकाइयों में महत्वपूर्ण पूंजी व्यय और रोजगार सृजन के लिए आवश्यक है।

उद्योग विभाग के एक प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि यह योजना एक अप्रैल, 2017 से प्रभावी होगी तथा 31 मार्च, 2022 तक लागू रहेगी, जिन इकाइयों ने एक अप्रैल, 2017 के बाद वाणिज्यिक उत्पादन/संचालन शुरू कर दिया है, वे इसके तहत भारत सरकार के औद्योगिक नीति और संवर्धन विभाग में 30 सितम्बर, 2018 तक पंजीकरण कर सकते हैं।

प्रवक्ता ने कहा कि यह योजना 10 मैगावाट तक जल विद्युत उत्पादन इकाइयों और जैव प्रौद्योगिकी पर भी लागू होगी। डीआईपीपी पोर्टल पर पंजीकरण के लिए आवेदन करने के लिए वैब लिंक दबवहण्हवअण्पदध्केध्सवहपदण् है।

इस औद्योगिक विकास योजना की मुख्य विशेषताओं में केन्द्रीय पूंजी, ऋण प्राप्ति के लिए निवेश प्रोत्साहन (सीसीआईआईएसी) 30 प्रतिशत की दर पर तथा निवेश संयंत्र और मशीनरी में पांच करोड़ रुपये की दर तक उच्च सीमा के साथ शामिल है।

सभी पात्र औद्योगिक इकाइयां तथा मौजूदा इकाइयां जिसके अन्तर्गत सभी भारतीय अग्नि नीति ‘सी’ शुल्क के अनुसार योग्य इकाइयों को शामिल किया गया है। ऐसी सभी इकाइयां शत-प्रतिशत बीमा प्रीमियम की प्रतिपूर्ति के लिए पात्र होगी।

प्रवक्ता ने कहा कि यह घोषण निश्चित रूप से राज्य में नए निवेश को आकर्षित करेगी तथा मौजूदा उद्योगों को बनाए रखने के लिए मील का पत्थर साबित होगा।

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